नालंदा2 घंटे पहले
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अपने समर्थकों के साथ आरसीपी सिंह।
दिल्ली में नए संसद भवन के उद्घाटन कार्यक्रम को लेकर बिहार में सियासी बयानबाजी तेज है। राजद और जदयू ने समारोह के बहिष्कार की घोषणा की है। इसको बाद दोनों तरफ से बयानबाजी भी तेज है। कभी नीतीश के खास रहे आरसीपी सिंह भाजपा में शामिल होने के बाद लगातार मुख्यमंत्री पर हमलावर हैं। गुरुवार को नालंदा में एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने सीएम नीतीश कुमार को सत्ता का लोभ आदमी बताया है।
आरसीपी सिंह ने कहा है कि मुख्यमंत्री सत्ता लोभित आदमी हैं । जो सत्ता रूपी सिगरेट का आखरी कस तक मजा लेना चाहते हैं। लेकिन आने वाले चुनाव में बिहार की जनता इन्हें सन्यास दिला देगी। वहीं ग्रामीण विकास मंत्री श्रवण कुमार के द्वारा आरसीपी सिंह को फ्यूज बल्ब बताए जाने पर उन्होंने कहा कि फ्यूज बल्ब का भी उपयोग होता है। श्रवण कुमार अपने विधानसभा क्षेत्र में चले जाएं उन्हें परमानेंट सन्यास जनता दिलाने के लिए बैठी हुई है।सीएम के मेमोरी लॉस वाले सम्राट चौधरी के बयान का समर्थन करते हुए आरसीपी सिंह ने कहा कि हाल के दिनों में उन्होंने कई ऐसे बातें कही हैं। जिससे स्पष्ट तौर पर यह पता चलता है कि उनकी उम्र हो गई है और उनकी मेमोरी लॉस हो गई है।

सीएम नीतीश पर लगातार हमलावर हैं आरसीपी सिंह। फाइल फोटो
ससंद भवन के उद्घाटन समारोह पर जदयू और राजद के स्टैंड पर आरसीपी सिंह ने कहा कि पहली बार तो ऐसा नहीं हो रहा है और यह अवसर बार-बार नहीं मिलता है। यह भवन बनकर तैयार हुआ और इसके लिए तो पूरे देशवासियों को अपने प्रधानमंत्री पर गर्व करना चाहिए कि यह संसद भवन कितना शानदार बना है। जनता दल यू विरोध कर रही है तो नीतीश बाबू सबसे पहले बताएं कि बिहार में सेंट्रल हॉल बनाया गया तो उसका शिलान्यास मुख्यमंत्री ने क्यों किया था। आप राज्य में कर रहे हैं तो बहुत अच्छा है। केंद्र में अगर प्रधानमंत्री जी कर रहे हैं तो साहब ठीक नहीं है। यह कैसे हो सकता है। दो तरह की बातें नहीं करनी चाहिए।
मीट-चावल भोज पर कसा तंज
आरसीपी सिंह ने जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह पर भी जमकर कटाक्ष किया। उन्होंने कहा कि 14 मई को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पत्नी की पुण्यतिथि थी। उसी दिन पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मीट भात का भोज दे रहे थे। यह भारतीय संस्कृति और परंपरा से बिल्कुल उलट है। अगर उन्हें भंडारा ही करना था तो पूरी और खीर का भी भंडारा कर सकते थे। आरसीपी सिंह ने ये बातें जिले के गिरियक प्रखंड के पावापुरी गांव में एक कार्यक्रम के दौरान कही।
शराबबंदी पर भी किया कटाक्ष
आरसीपी सिंह ने कहा कि शराबबंदी बिहार में सबसे बड़ा मजाक है। शराबबंदी जो लागू की गई थी बिहार के सभी लोगों ने इसका समर्थन किया था। बिहार के लोग सोच रहे थे कि सरकार इसे सख्ती से लागू करेगी। पहले दुकान के माध्यम से शराब बिकती थी और आज यह स्थिति हो गई है कि घर-घर शराब की डिलीवरी हो रही है। शराबबंदी पूरी तरह से फेल हो गई है। राजस्व का भी भारी नुकसान हो रहा है। 20 से 25 हजार करोड़ का नुकसान हर साल हो रहा है। कानूनी पेच में बिहार की गरीब जनता फंसी हुई है सो अलग, जहरीली शराब से कितने जिलों में लोगों की मौतें हुई है। इसका मतलब है कि बिहार में शराब बिक रही है। कल तक जिन्हें साइकिल चलाने का हुनर नहीं आता था वैसे लोग अवैध शराब की कमाई से फॉर्च्यूनर गाड़ी पर चढ़ रहें है।
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